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Monday, December 13, 2021

log to bas bani hashim

 

लोग तो बस बनी हाशिम‌ का क़मर जानते हैं

हम तो अब्बास को ज़हरा का पिसर जानते हैं


एक तबस्सुम की कली तोड़ दे पत्थर का जिगर

इस घराने केके तो बच्चे ये हुनर जानते हैं


किसमें हिम्मत है जरी से जो मिला ले आंखें

कौन है किसका है ये लख़्ते जिगर जानते हैं


वस्ता दे के भातीजी का चाचा से मांगो

वो सकीना की सिफ़ारिश का असर जानते हैं


क्यू फरिश्ते ना करे झूले से मस फितरुस को

किसके सदक़े में अता होते हैं पर जानते हैं


दर बदर हमको भटकने की नहीं है आदत

हम तो बस हज़रते अब्बास का दर जानते हैं


कैसे बनता है वफ़ाओं का महल पानी पर

सिर्फ ये हज़रते अब्बास हुनर जानते हैं


दर पे उतरे जो सितारे तो ताज्जुब न करो

अज़मते मुर्तज़ा भी शम्सो क़मर जानते हैं


कह दो मीसम कि नसीहत न करे शेख़ हमे

ख़ुल्द का रास्ता हम अहले नज़र जानते हैं